मणिपुर के 31 विधायकों ने अमित शाह से संकट का समाधान करने का किया आग्रह
इंफाल 12 जुलाई: मणिपुर के 31 विधायकों ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से पिछले तीन मई से शुरू हुए राज्य संकट का सौहार्दपूर्ण समाधान खोजने की गुहार लगायी है।
राज्य सूचना कार्यालय के एक बयान में कहा गया है कि विधायकों ने 9 असम राइफल्स, 22 असम राइफल्स और 37 असम राइफल्स के स्थान पर अन्य केंद्रीय सुरक्षा बलों को तैनात करने का भी प्रस्ताव रखा है।
उन्होंने कहा कि असम राइफल्स की कुछ इकाइयों की ओर से निभाई गई भूमिकाओं को लेकर चिंताएं हैं जो वर्तमान में राज्य के भीतर एकता के लिए खतरा पैदा करती हैं।
केंद्रीय गृह मंत्री को दिए गए ज्ञापन में यह भी उल्लेख किया गया है कि पांच जुलाई, 2023 को चुराचांदपुर में आयोजित शांति मार्च के दौरान आग्नेयास्त्रों और गोला-बारूद के सार्वजनिक प्रदर्शन की व्यापक जांच की जानी चाहिए।
यह इन हथियारों और गोला-बारूद के स्रोत के साथ-साथ उनकी निरंतर उपलब्धता के बारे में महत्वपूर्ण सवाल उठाता है जो इस हिंसा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाया। विधायकों ने इस मुद्दे को संबोधित करने और इन अवैध हथियारों की आगे की पुनःपूर्ति को रोकने की आवश्यकता के बारे में अपनी चिंता व्यक्त की।
विधायकों ने केंद्रीय गृह मंत्री से शांति और सामान्य स्थिति बहाल करने के लिए राज्य में सक्रिय सशस्त्र विद्रोही और सीमा पार सशस्त्र विद्रोही समूहों के खिलाफ मजबूत तथा प्रभावी कार्रवाई करने का आग्रह किया।
विधायकों ने इन सशस्त्र समूहों के खिलाफ निर्णायक कदम उठाने की अपनी प्रतिबद्धता दोहराई, जिन्होंने अनुबंध के स्थापित जमीनी नियमों का उल्लंघन किया है। ऐसे सशस्त्र गुटों के समर्थन के बिना किसी भी संघर्ष का इतने लंबे समय तक जारी रहना अकल्पनीय है।
विधायकों ने यह भी पुष्टि की कि परिधीय क्षेत्रों में हिंसा रोकी जानी चाहिए। केंद्रीय सुरक्षा बलों को क्षेत्र में स्थायी शांति सुनिश्चित करने के लिए अधिक सक्रिय दृष्टिकोण अपनाना चाहिए, जो पिछले दो महीनों से अस्पष्ट है।
बयान में कहा गया है,“एक बार जब इन क्षेत्रों में सभी प्रकार की हिंसा और आक्रामकता समाप्त हो जाती है, तो हम इसमें शामिल सभी हितधारकों के साथ व्यापक परामर्श के माध्यम से शांतिपूर्ण समाधान प्राप्त करने की दिशा में काम कर सकते हैं।”
विधायकों ने आग्रह किया कि राज्य के लोगों के लिए माल के सुरक्षित परिवहन की सुविधा के लिए एनएच 2 पर बढ़े हुए राजमार्ग गश्त जैसे सुरक्षा उपायों की आवश्यकता है। भारत-म्यांमार सीमा के मणिपुर खंड पर सीमा बाड़ लगाने का काम तेजी से पूरा किया जाना चाहिए।
बयान में हालांकि प्रस्ताव सौंपने वाले विधायकों की सूची नहीं दी गई।