बीआरएस की पहली जनसभा फिल्म की रिलीज से पहले फ्लॉप शो की तरह : कुमार
हैदराबाद/नयी दिल्ली, 19 जनवरी : भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की तेलंगाना इकाई के अध्यक्ष बांदी संजय कुमार ने गुरुवार को कहा कि भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) की बुधवार को खम्मम में पहली जनसभा किसी फिल्म की रिलीज से पहले फ्लॉप शो की तरह रही।
श्री कुमार ने नयी दिल्ली में संवाददाताओं से कहा कि बीआरएस के नेताओं ने जनसभा को सफल बनाने के लिए लोगों को पैसे देकर और डरा-धमकाकर भीड़ जुटाने का असफल प्रयास किया। उन्होंने आरोप लगाया कि बीआरएस प्रमुख और मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव शराब घोटाले से प्राप्त लूट के धन का कथित रूप से भुगतान करके तथाकथित राष्ट्रीय नेताओं को इसमें शामिल करने में सफल रहे।
उन्होंने कहा कि कोई भी नेता जो केसीआर के पास एक बार आता है उन्हें फिर से स्वीकार नहीं करता है। कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी दुबारा नहीं आए और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी ऐसा ही किया था।
भाजपा सांसद ने दावा किया कि खम्मम की बैठक में जो लोग शामिल हुए वह फिर से दिखाई नहीं देंगे। उन्होंने केसीआर पर आरोप लगाया कि वह तीनों मुख्यमंत्रियों को यादाद्री मंदिर इसलिए लेकर गए ताकि दिखा सकें कि वह मंदिर के साथ कैसे व्यापार कर रहे हैं। वास्तव में, उनमें से एक ने तो मंदिर में भी प्रवेश नहीं किया।
उन्होंने कहा कि श्री राव ने अपनी शेखी बघारने के लिए तीर्थयात्रियों और राहगीरों के लिए एक वर्चुअल नर्क बना दिया।इतना ही नहीं बल्कि मुख्यमंत्री देश को नीचा दिखाने के लिए हंगर इंडेक्स के संदर्भ में श्रीलंका, बंगलादेश और पाकिस्तान जैसे देशों का उल्लेख करते हैं।
श्री कुमार ने कहा कि केसीआर विकास के संबंध में चीन की बात करते हैं जो अब कोरोनावायरस महामारी पर काबू पाने के लिए संघर्ष कर रहा है। उन्होंने कहा कि यह स्पष्ट रूप से दिखता है कि श्री राव जिस देश की प्रगति की बात करते हैं वह उस देश के लिए अशुभ साबित होता है।
उन्होंने कहा कि तेलंगाना में कृषि बोरवेल की संख्या 2014 में 18 लाख थी जो कि आज बढ़कर 24 लाख हो गई है। भाजपा सांसद ने कहा कि अगर बीआरएस सरकार पिछले आठ वर्षों में लाखों एकड़ जमीन को सिंचाई प्रदान की होती तो बोरवेल की संख्या कम होने के बजाय बढ़ती क्यों।
श्री कुमार ने सशस्त्र बलों में भर्ती वाली अग्निपथ योजना को समाप्त करने वाली केसीआर की घोषणा पर प्रतिक्रिया व्य्क्त करते हुए कहा कि यह योजना दिवंगत बिपिन रावत की सोच है और आश्चर्य व्यक्त किया कि क्या राव खुद को स्वर्गीय रावत से ज्यादा बुद्धिमान समझते हैं। उन्होंने कहा कि अग्निपथ को छोड़िए, मुख्यमंत्री को तेलंगाना में पुलिस बलों की भर्ती करने दीजिए। उन्होंने आरोप लगाया कि उनकी मूर्खतापूर्ण स्थिति के कारण, उम्मीदवार आंदोलन कर रहे हैं और सवाल उठाने वाले लोगों पर लाठीचार्ज किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री द्वारा ‘मेक इन इंडिया’ नारे की आलोचना करने पर भाजपा सांसद ने कहा कि वंदे भारत ट्रेन, मोबाइल फोन निर्माण और कोविड वैक्सीन उत्पादन जैसे कई उदाहरण हैं जो मेक इंडिया की भावना को व्यक्त करते हैं।
उन्होंने केसीआर द्वारा महिलाओं को 35 प्रतिशत आरक्षण देने, दलित बंधु योजना लागू करने और घाटे में चल रहे उद्योगों का राष्ट्रीयकरण की बातों को खोखला वादा बताते हुए मजाक उड़ाया। उन्होंने याद दिलाया कि श्री राव तेलंगाना में इन वादों को लागू करने में विफल रहे हैं।
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष ने कहा कि जनसभा में किसी ने भी ‘अब की बार किसान सरकार’ की बात नहीं की और यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि तेलंगाना के मुख्यमंत्री ने खम्मम की बैठक में ‘जय तेलंगाना’ का नारा तक नहीं लगाया।
उन्होंने केसीआर के जन्मदिन पर नवनिर्मित सचिवालय का उद्घाटन करने के फैसले पर भी टिप्पणी करते हुए कहा कि अगर वह डॉ बी आर अंबेडकर से इतना ही प्यार करते हैं, जिनके नाम पर उन्होंने सचिवालय का नाम बदला है, तो उन्हें इसे 14 अप्रैल को बाबासाहेब अंबेडकर की जयंती पर इसका उद्घाटन करना चाहिए।